गोरखपुर, उत्तर प्रदेश (Gorakhpur, Uttar Pradesh), एकलव्य मानव संदेश (Eklavya Manav Sandesh) ब्यूरो रिपोर्ट, 10 जनवरी 2019। डॉ. संजय कुमार निषाद जी के हर आदेश को मानकर, हर परिस्थिति में कार्य करने वाले ही सक्रिय कार्यकर्ता कहलायेंगे। निषाद पार्टी के सभी कार्यकर्ताओं को जारी एक ब्यान में राष्ट्रीय अध्यक्ष महामना डॉ. संजय कुमार निषाद ने कहा है कि इस समय निषाद पार्टी और निषाद पार्टी के सभी कार्यकर्ता एक बहुत ही कठिन परीक्षा की घड़ी में हैं। निषाद पार्टी निषाद वंश की सभी जातियों के सर्वांगीण विकास के लिए जरूरी तुरैहा, गौंड और मझबार के परिभाषित आरक्षण को लागू कराने के लिए संघर्ष कर रही है। इसी आरक्षण के लिए 7 जून 2015 को गोरखपुर के मगर में इटावा के वीर अखिलेश सिंह निषाद ने आपनी कुर्बानी दी थी और गोरखपुर के तत्कालीन सांसद योगी आदित्यनाथ जी (वर्तमान उत्तर प्रदेश के मुख्य मंत्री) ने निषाद पार्टी के धरने को गोरखपुर में संबोधित करते हुए निषाद आरक्षण को लागू कराने की बात कही थी। लेकिन आज भाजपा इस आरक्षण के लागू होने में सबसे बड़ी रोड़ा बन गई है। इसीलिए निषाद पार्टी ने 2019 में भाजपा को करारी शिकस्त देने के लिए महा गठबंधन में जुड़ने का फैसला किया है। और महा गठबंधन में सम्मान जनक सीटों के साथ चुनाव लड़कर लोकसभा में निषाद आरक्षण की वकालत करने के लिए तैयारी की है।
राष्ट्रीय अध्यक्ष महामना डॉ. संजय कुमार निषाद निषाद पार्टी के विस्तार को कई प्रदेश तक पहुंचा चुके हैं और अपनी सूझबूझ व कुशल नेतृत्व के साथ पार्टी के करवा को तेज़ी से आगे बढ़ा रहे हैं। उनके द्वारा लिए जाने वाले हर निर्णय को स्वीकार करना सभी पार्टी पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं का परम कर्तव्य है। और उनके सभी निर्णयों और आदेशों का हर समय, हर परिस्थितियों में पूरा करने के लिए तैयार रहना सभी पदाधिकारियों का परम धेय भी होना जरूरी है। और ऐसे ही कार्यकर्ता ही वास्तव में सक्रिय कार्यकर्ता कहलाने के हकदार हैं।
इसलिए पार्टी के सभी कार्यकर्ताओं से कहा गया है कि आप सक्रिय कार्यकर्ता बनें न कि सलाहकार। क्योंकि जब पार्टी को आपकी सलाह की जरूरत होती है तो अपने कैडर कार्यक्रमों के माध्यम से आपकी सलाह भी ली जाती है।
राष्ट्रीय अध्यक्ष महामना डॉ. संजय कुमार निषाद निषाद पार्टी के विस्तार को कई प्रदेश तक पहुंचा चुके हैं और अपनी सूझबूझ व कुशल नेतृत्व के साथ पार्टी के करवा को तेज़ी से आगे बढ़ा रहे हैं। उनके द्वारा लिए जाने वाले हर निर्णय को स्वीकार करना सभी पार्टी पदाधिकारियों और कार्यकर्ताओं का परम कर्तव्य है। और उनके सभी निर्णयों और आदेशों का हर समय, हर परिस्थितियों में पूरा करने के लिए तैयार रहना सभी पदाधिकारियों का परम धेय भी होना जरूरी है। और ऐसे ही कार्यकर्ता ही वास्तव में सक्रिय कार्यकर्ता कहलाने के हकदार हैं।
इसलिए पार्टी के सभी कार्यकर्ताओं से कहा गया है कि आप सक्रिय कार्यकर्ता बनें न कि सलाहकार। क्योंकि जब पार्टी को आपकी सलाह की जरूरत होती है तो अपने कैडर कार्यक्रमों के माध्यम से आपकी सलाह भी ली जाती है।