दमोह, मध्यप्रदेश, एकलव्य मानव संदेश रिपोर्टर गणेश कुमार रायकवार की रिपोर्ट। दमोह जिला की तहसील पटेरा निवासी और कहार महासंघ के जिलाध्यक्ष महेन्द्र बर्मन ने बताया कि उनके दादा बन्दू पुत्र बुदयी बर्मन ने दिनाँक 11 जुलाई 2002 को नोटरी युक्त स्टाम्प पेपर पर कृषि भूमि खसरा नंबर 41 रकवा 0.63 हेक्टेयर को विक्रेता हरी सिंह यादव पुत्र सरिया यादव, निवासी साकिन बिछिया, तहसील पटेरा से 48000 रुपये में क्रय करने का इकरार किया था, जिसके ब्याने में 46000 रुपये दिए थे और बाकी 2000 रुपये बाद में देने के बाद रजिस्ट्री करने का दावा किया था। क्रय दिनाँक से जमीन क्रेता यानी बन्दू बर्मन और उनका परिवार शांति से उस जमीन पर अपना मकान और बनाकर रह रहे थे और खेती करते रहे, लेकिन काफी समय बीत जाने के बाद भी कई बार कहने पर कि हमारी रजिस्ट्री कर दो, लेकिन बिक्रेता यह कहकर टालता रहा कि बेईमानी नहीं करेंगे।
महेंद्र बर्मन ने बताया कि गत 30 मई 2020 की शाम को 5:30 शाम को उस जमीन पर हरी सिंह ट्रैक्टर से बखरनी करना चाह रहा था तो हम लोगों ने कहा कि जमीन आप बेच चुके हो, अब इस प्रकार बखरनी का क्या मतलब है। तब उसने हमलोगों को धमकाते हुए जबर्दस्ती खेत बखर लिया। जिसका विरोध करने पर उसने कुल्हाडी की मुदानी से मुझे और मेरी पत्नी को चोट पहुंचायी और अब हम लोगों की जमीन और उस पर बने मकान को हथियार के जोर पर कब्जा करना चाह रहा है। बेलखेड़ी के भले आदमीयों और पंचायत में भी आप बीती सुनाई लेकिन कोई सार नही निकला। दबंग लगातार हमारे परिवार को जान से मारने की धमकी दे रहा है, जिससे पूरा परिवार सदमे में है। इस संबंध में एक शिकायती आवेदन पत्र थाना कुम्हारी में पीड़ित पक्ष द्वारा पुलिस को दिया गया है और मकान और जमीन पर हरी सिंह यादव द्वारा किये जा रहे जबरन कब्जे को छुड़वाने की गुहार लगाई है। देखना होगा आगे क्या कार्यबाही पुलिस और राजस्व बिभाग द्वारा की जाएगी इसके बारे में प्रतीक्षा की जा रही है।।