अलीगढ़, उत्तर प्रदेश, एकलव्य मानव संदेश ब्यूरो रिपोर्ट। अलीगढ़ महानगर के राम नगर कालौनी निवासी वीरेश कुमार पुत्र भीकम सिंह कश्यप ने थाने में शिकायत करते हुए एक प्रार्थना-पत्र दिया, जिसमें लिखा कि मेरा पुत्र तुषार कश्यप सामने कैलाश चंद शर्मा जी के घर उनके लड़के के पास डाटा केबल लेने गया था। लड़का छत पर था, तो तुषार भी छत पर चला गया। कैलाश शर्मा जी का लड़का फोन पर बात कर रहा था, तो वह बोला कि अभी नीचे चल कर डाटा केबल तुमको देता हूं। इतने में इनके बराबर वाले मकान में रहने वाले रामवीर सिंह पुत्र कमल सिंह छत पर गए और गाली गलौज और हाथापाई करते हुए बोले कि इनकी छत पर तू आया क्यों? तो मेरे पुत्र तुषार ने उसने कहा कि अभी डाटा केबल लेना लेने आया हूँ और मैं अभी चला जाऊंगा। इतने में रामवीर सिंह की लड़के प्रदीप कुमार ने फोन करके दो गाड़ी भर के बदमाश बुला लिए। बदमाश भी आने पर गाली गलौज करते हुए कहने लगे, साले तुझे जान से मार देंगे। तुझे यहां रहने नहीं देंगे।
वीरेश का कहना है कि यह बात मैंने थाना पुलिस को एक प्रार्थना पत्र में लिखकर दी और ऑनलाइन भी शिकायत दर्ज कराई लेकिन थाना गाँधी पार्क पुलिस ने एक ही पक्ष के कैलाश चंद शर्मा और मुझ वीरेश कुमार, दोनों में ही झगड़ा दिखाकर, हम दोनों के परिवार पर धारा 107/16 में कार्यवाही कर 1-1 लाख रुपये के पाबंदी का नोटिस अपर नगर प्रथम द्वारा जारी किया गया है। वीरेश कुमार कश्यप का कहना है हम दोनों में ना तो झगड़ा हुआ ना ही कोई विवाद हुआ, हमारा झगड़ा तो रामवीर सिंह, संभव, कमल सिंह से हुआ था। उनके नाम रिपोर्ट दर्ज न कर हम पर ही कार्रवाई कर दी। रामवीर सिंह पहले भी दो से तीन बार मुझसे झगड़ा कर चुके हैं। 28.2.2020 को रामवीर सिंह ने झगड़ा किया था, जिसका थाने में जाकर उन्होंने फैसला कर लिया। अब पीड़ित वीरेश अपनी पीड़ा लेकर थाने और वरिष्ठ अधिकारियों के चक्कर लगाने को मजबूर हो गए हैं।
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वीरेश का कहना है कि यह बात मैंने थाना पुलिस को एक प्रार्थना पत्र में लिखकर दी और ऑनलाइन भी शिकायत दर्ज कराई लेकिन थाना गाँधी पार्क पुलिस ने एक ही पक्ष के कैलाश चंद शर्मा और मुझ वीरेश कुमार, दोनों में ही झगड़ा दिखाकर, हम दोनों के परिवार पर धारा 107/16 में कार्यवाही कर 1-1 लाख रुपये के पाबंदी का नोटिस अपर नगर प्रथम द्वारा जारी किया गया है। वीरेश कुमार कश्यप का कहना है हम दोनों में ना तो झगड़ा हुआ ना ही कोई विवाद हुआ, हमारा झगड़ा तो रामवीर सिंह, संभव, कमल सिंह से हुआ था। उनके नाम रिपोर्ट दर्ज न कर हम पर ही कार्रवाई कर दी। रामवीर सिंह पहले भी दो से तीन बार मुझसे झगड़ा कर चुके हैं। 28.2.2020 को रामवीर सिंह ने झगड़ा किया था, जिसका थाने में जाकर उन्होंने फैसला कर लिया। अब पीड़ित वीरेश अपनी पीड़ा लेकर थाने और वरिष्ठ अधिकारियों के चक्कर लगाने को मजबूर हो गए हैं।
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